अनिरूद्ध टिकट मिलने पर लड्डू बांटते समर्थक।
हरियाणा के चरखी दादरी में बीसीसीआई के पूर्व कोषाध्यक्ष एवं हरियाणा के पूर्व सीएम स्वर्गीय बंसी लाल के पोते को कांग्रेस पार्टी ने तोशाम विधानसभा से उम्मीदवार बनाया है। उनको टिकट मिलने पर चरखी दादरी जिले के बाढ़ड़ा विधानसभा में उनके समर्थकों में खुशी का
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जहां से उन्होंने कांग्रेस की टिकट पर बीते तीनों विधानसभा चुनाव लड़े है। जिसके चलते बाढ़ड़ा में उनके समर्थकों की तादात अच्छी-खासी है।
3 बार चुनाव लड़कर हारे रणबीर सिंह
बता दें कि बाढ़ड़ा विधानसभा से अनिरूद्ध के पिता बीसीसीआई के पूर्व अध्यक्ष एवं पूर्व सीएम चौधरी बंसी लाल के बेटे रणबीर सिंह महेंद्रा कांग्रेस पार्टी के टिकट पर बीते तीनों चुनाव लड़े और तीनों में हार का सामना करना पड़ा। लगातार तीन हार व अधिक उम्र के चलते उन्होंने चुनाव से दूरी बना ली है। जिसके बाद उनके बेटे ने बाढ़ड़ा की बजाय तोशाम से चुनाव लड़ने का निर्णय लिया और पार्टी ने उन्हें वहां से टिकट भी दे दिया है।
उनको टिकट मिलने के बाद समर्थकों ने भारी उत्साह है और उन्होंने नारेबाजी करते हुए मुख्य चौक पर लड्डू बांट कर खुशी का इजहार किया।
अनिरुद्ध का पहला चुनाव
चौधरी बंसी लाल के पोते अनिरूद्ध चौधरी का यह पहला विधानसभा चुनाव है। इससे पहले उनके पिता लगातार राजनीति में सक्रिय में रहे और मुंढाल से विधायक भी बने। वहीं बीते तीन विधानसभा चुनाव उन्होंने बाढ़ड़ा से लड़े और तीनों में हार का सामना करना पड़ा। उन्होंने विधानसभा चुनाव 2024 से दूरी बनाते हुए अपने बेटे अनिरूद्ध को आगे किया। शुरुआत में अनिरूद्ध के बाढ़ड़ा से ही चुनाव लड़ने के कयास लगाए जा रहे थे और वे यहां पर सक्रिय भी रहे।
समर्थकों का निर्णय तोशाम से लड़े चुनाव
उनके समर्थक भी चाह रहे थे कि वे बाढ़ड़ा से ही अपना पहला चुनाव लड़े, लेकिन उन्होंने तोशाम से चुनाव लड़ने का निर्णय लिया और पार्टी ने वहां से उनका टिकट भी फाइनल कर दिया है। अब पहले ही चुनाव में उनका मुकाबला अपनी चेचेरी बहन भाजपा प्रत्याशी श्रुति चौधरी से होगा। दोनों भाई-बहन के बीच पहले विधानसभा चुनाव में ही इस मुकाबले को पूर्व सीएम स्वर्गीय बंसी लाल की विरासत की लड़ाई करार दिया जा रहा है।
रणबीर सिंह को 2019 में नैना चौटाला ने हराया
2009 से 2019 तक कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले रणबीर सिंह महेंद्रा को जीत नसीब नहीं हुई। तीनों बार वे जीत के काफी क्लौज़ रहे और दूसरे स्थान पर रहे। हालांकि समय के साथ हार का अंतर भी बढ़ता चला गया। बाढ़ड़ा के लोगों ने उन्हें विधानसभा नहीं भेजा। विधानसभा चुनाव 2009 में इनेलो प्रत्याशी रघबीर सिंह छिल्लर ने उन्हें 709 से मतों से हराया था।
वहीं 2014 में बीजेपी उम्मीदवार सुखविंद्र सिंह मांढी ने 5006 मतों से उन्हें मात दी थी। इसके अलावा 2019 विधानसभा चुनाव में जेजेपी की नैना चौटाला ने 13704 मतों से उन्हें हराया।