नगर कौंसिल की बैठक में रिपोर्ट दिखाते पार्षद
जगराओं नगर कौंसिल की बैठक में जमकर हंगामा हुआ। सब्जी मंडी रोड पर छप्पड़ वाली जगह का मुद्दा खूब उछला। इतना ही नही इस दौरान वार्ड नंबर 18 से पार्षद रविंदरपाल राजू ने बैठक में अधिकारियों की रिपोर्ट का भी खुलासा किया। जिसमें साफ लिखा है कि कौंसिल की जितनी
.
सोमवार को जैसे ही बैठक शुरू हुई तो अवैध कब्जों का मुद्दा गर्मा गया। पार्षद हिमांशु मलिक ने शहरभर में हुए अवैध कब्जों का मुद्दा उठाते हुए सभी कब्जे छुडवाने की मांग की। जिसके बाद पार्षद रविंदरपाल राजू कामरेड ने सब्जी मंडी रोड पर बने छप्पड़ कर मुद्दा उठाते हुए उस रिपोर्ट का खुलासा कर दिया।
जिसमें डिप्टी डायरेक्टर द्वारा बनाई टीम ने कुछ साल पहले जांच कर जगह पर कौंसिल को चार दीवारी करने को कहा था, लेकिन राजनीतिक दवाब में अधिकारियों ने जगह को अपने कब्जे में नहीं लिया। अब उसी जगह को लेकर विवाद खड़ा है। इतना ही नहीं पार्षद राजू कामरेड ने साफ कहा कि वह कौंसिल कर्मियों के साथ खडे़ हैं और कौंसिल की जगह को कालोनाइजरों के हाथों में नहीं जाने देंगे।
नगर कौंसिल की बैठक में बोलते पार्षद
नगर कौंसिल के पास नहीं थी अपनी जगह
बता दें कि, नगर कौंसिल के पास कूड़ा फेंकने को लेकर जगह नहीं थी, जिसे लेकर कौंसिल ने सब्जी मंडी रोड पर बने छप्पड़ को अपना बताकर कूड़ा फेंककर साफ सफाई का काम शुरू कर दिया था। छप्पड़ के साथ ही उस जगह पर कुछ दुकानें भी बनी हुई हैं। जिसको कौंसिल अवैध बताकर छप्पड़ वाली जगह को अपनी बता रही है।
कुछ लोगों ने जगह को अपना बताते कहा था कि उनके पास जगह की रजिस्ट्रियां है कौंसिल का इस जगह से कोई लेना देना नहीं है, लेकिन कौंसिल ने जगह को अपना बता कर कूडे़ की साफ सफाई का काम शुरू कर दिया, जिसको लेकर कौंसिल व दुकानदार आमने सामने खड़े हो गए थे। इस दौरान एक व्यक्ति ने सफाई कर्मियों को जाति सूचक शब्द कहे, जिसके बाद विवाद इस कदर बढ़ गया कि सफाई कर्मियों ने कूडे़ वाली जगह की समस्या का हल ना होने तक धरना लगा दिया।
रजिस्ट्रियों की भी होगी जांच
इस मामले को लेकर कौंसिल प्रधान जतिंदरपाल राना ने कहा कि कौंसिल की जगह पर बनी दुकानों की हुई रजिस्ट्रियों की भी जांच करवाई जाएगी। उन्होंने कहा कि रजिस्ट्री करवाते समय दो रजिस्ट्रियां देखी जाती है, फिर जाकर खरीददार को रजिस्ट्री होती है, लेकिन सब्जी मंडी व झांसी रानी चौक वाली दुकानों की रजिस्ट्री कैसे हो गई। इसकी जांच के लिए पंजाब सरकार को पत्र लिख कर मामले की जांच करवाने की मांग की गई है।