सीवान शहर के मुख्य मार्गों से लेकर गली-मोहल्लों तक कचरे के ढेर लगे हुए हैं। कटे हुए चिकन के छिलके, गीला कचरा और प्लास्टिक के कूड़े से भीषण दुर्गंध फैल रही है। इससे बच्चों, बुजुर्गों और राहगीरों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। बता दें कि नगर
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संक्रामक रोगों का खतरा
स्थानीय चिकित्सकों ने बताया कि कचरे के ढ़ेर से संक्रामक रोगों का खतरा बढ़ गया है। मच्छरों की बढ़ती संख्या से डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया का खतरा मंडरा रहा है। सड़ते कचरे की बदबू से अस्थमा और फेफड़ों के रोगियों की परेशानी बढ़ गई है।
वहीं गंदगी और सीवर के मिश्रित पानी से जलजनित बीमारियों जैसे डायरिया, टाइफाइड और पीलिया फैलने का खतरा है। नगर परिषद ने एक एनजीओ को सफाई का जिम्मा सौंपा है। करोड़ों के टेंडर के बावजूद स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ है।
राहगीरों को होती परेशानी
एनजीओ के कार्यकर्ता यह बताते हैं कि नगर पालिका के द्वारा समय से कचरा डंप नहीं किया जाता है। जिससे राहगीरों को परेशानी होती है। वहीं कचरे की ढेर के कारण शहर की प्रमुख सड़कों पर राहगीरों और वाहन चालकों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। कई बार कचरे से भरी सड़कें फिसलन भरी हो जाती हैं, जिससे लोग गिरकर घायल हो रहे हैं। खासकर बरसात के दिनों में यह समस्या और गंभीर हो जाती है।
बदबू के कारण नहीं आते ग्राहक
एक स्थानीय दुकानदार ने बताया कि “कचरे के कारण ग्राहक दुकान तक नहीं पहुंच पाते। बदबू इतनी ज्यादा होती है कि खाना-पीना भी मुश्किल हो जाता है। नगर पालिका से कई बार शिकायत की, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। “नगर पालिका के अधिकारी चुप क्यों? यह भी एक बड़ा सवाल है।
मीटिंग के बहाने निकले अधिकारी
जब इस मुद्दे पर नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी अनुभूति श्रीवास्तव से बात करने की कोशिश की गई तो पहले उनके द्वारा चेम्बर के गेट पर रिपोर्टर को घंटों इंतजार कराया और मीटिंग का बहाना करके जब चेम्बर से जाने लगे तो पूछा गया तो कहा कि आप चिंता नही करिए हम देख लेंगे और कैमरे के सामने कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया ।
जनता मांग जवाबदेही मांग रही है व दोषी पर सख्त कार्रवाई के लिए नगर परिषद और NGO की लापरवाही की उच्च स्तरीय जांच हो और नगर पालिका के जिम्मेदार अधिकारियों व कर्मचारियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए। स्थानीय निवासियों का कहना है कि अगर जल्द ही सफाई की उचित व्यवस्था नहीं की गई, तो वे आंदोलन करने को मजबूर होंगे।