अजमेर के जयपुर रोड स्थित सिविल डिफेंस के कार्यालय पर मॉक ड्रिल को लेकर बुधवार को भी तैयारियां की जा रही हैं।
केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश के बाद राजस्थान के 28 शहरों में भी आज मॉक ड्रिल होगी। सायरन बजते ही आधे घंटे के लिए सभी 28 शहर अंधेरे में डूब (ब्लैकआउट) जाएंगे। यह सायरन हवाई हमले से सतर्क करने के लिए बजाए जाते हैं। उधर, अजमेर सहित कई जिलों में आज भ
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केंद्र सरकार ने युद्ध के दौरान बचाव के लिए सिविल डिफेंस की तीन कैटेगरी में शहरों को बांटा है। इनमें कोटा और रावतभाटा (चित्तौड़गढ़) को सबसे संवेदनशील शहरों वाली कैटेगरी में रखा गया है। जयपुर सहित 18 शहरों को कम संवेदनशील वाली दूसरी कैटेगरी में रखा गया है। सबसे कम संवेदनशील वाली कैटेगरी में 8 शहर शामिल हैं। इन शहरों में रात में सायरन बजेंगे और ब्लैकआउट भी होगा।
अजमेर के जयपुर रोड स्थित सिविल डिफेंस के कार्यालय में बुधवार को भी मॉक ड्रिल की तैयारी चल रही हे।
मंगलवार को जोधपुर, जैसलमेर, बाड़मेर, भरतपुर और कोटा समेत कई शहरों में मॉक ड्रिल की तैयारी की गई। इस दौरान इन शहरों में अलग-अलग जगह हवाई हमले से अलर्ट करने वाले सायरन को बजाकर देखा गया। वहीं श्रीगंगानगर में ड्रोन उड़ाने पर रोक लगा दी गई। सरहदी इलाकों में रहने वाले लोगों का कहना है कि ऐसी तैयारियां आखिरी बार साल 1971 में देखी गई थीं।



तस्वीरों में देखें मॉक ड्रिल की तैयारी…

जोधपुर में इस तरह के सायरन का मंगलवार को ट्रायल किया गया।

बीकानेर में नागरिक सुरक्षा की टीम के सदस्य सायरन बजाकर देखते हुए।

जयपुर में कलेक्ट्रेट में लगा सायरन। इसे आज बजाया जाएगा।

भरतपुर में मंगलवार को ट्रैफिक चौराहे पर लगे हॉर्न को चेक करके देखा गया। मॉक ड्रिल के दौरान शहर में 7 जगह हॉर्न बजेगा।

बाड़मेर में मंगलवार को शहर में तीन जगह पर सायरन बजाकर टेस्टिंग की गई। मॉक ड्रिल के दौरान सिविल डिफेंस के जवान अलग-अलग जगह पर तैनात रहेंगे।

जैसलमेर के एक हॉस्टल में मॉक ड्रिल की प्रैक्टिस के दौरान बच्चे। सायरन बजते ही बच्चे पेट के बल लेट गए और कान बंद कर लिए।

कोटा में सायरन की टेस्टिंग की गई। शहर में करीब 11 सायरन लगाए गए हैं।