राम दरबार की प्राण प्रतिष्ठा के बाद अयोध्या में श्रद्धालुओं की संख्या और बढ़ गई है. रविवार को रामपथ पर सुबह से ही भक्त बड़ी तादाद में जुटे. देश के कोने-कोने से आए श्रद्धालुओं की आस्था और भक्ति का यह नजारा रामनगरी को और भी पवित्र बना रहा है. पुलिस और प्रशासन ने श्रद्धालुओं की भारी संख्या को देखते हुए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं. राम मंदिर की ओर जाने वाले प्रमुख मार्ग रामपथ पर दूर-दूर तक भक्तों की कतार देखी गई. प्रशासन ने श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए व्यापक व्यवस्थाएं की हैं, ताकि किसी भी भक्त को असुविधा न हो.
राम मंदिर के गर्भगृह में विराजमान रामलला के दर्शन के लिए श्रद्धालु घंटों कतार में खड़े रहकर अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं. रामपथ पर जगह-जगह पानी, छांव और बैठने की व्यवस्था की गई है. इसके अलावा मंदिर परिसर में प्रवेश और दर्शन की प्रक्रिया को सुगम बनाने के लिए अतिरिक्त कर्मचारियों की तैनाती की गई है. रविवार होने के कारण भीड़ में और इजाफा होने की संभावना है. प्रशासन ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे व्यवस्था बनाए रखने में सहयोग करें और मंदिर परिसर में स्वच्छता का ध्यान रखें.
अयोध्या के लिए 5 जून का दिन ऐतिहासिक रहा. पहली बार पूरी दुनिया के सामने राजा राम दरबार की झलक दिखाई गई. भगवान राम, सीता, लक्ष्मण, भरत, शत्रुघ्न और हनुमान समेत संपूर्ण राम दरबार की भव्य प्रतिमा मंदिर के प्रथम तल विराजमान हो गई. राम दरबार के साथ अन्य 7 देवी देवताओं की भी प्राण प्रतिष्ठा की गई थी. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भव्य मंदिर में राजा राम की प्राण प्रतिष्ठा की. इस मौके पर वैदिक मंत्रों की ध्वनि चारों दिशाओं में गुंजायमान रही. अभिजीत मुहूर्त, वेदघोष और मंत्रोच्चार की ध्वनि के बीच अयोध्या में गंगा दशहरा के अवसर पर श्रीराम दरबार सहित समस्त नवनिर्मित देवालयों में प्राण प्रतिष्ठा का भव्य समारोह संपन्न हुआ.
आदर्श चित्र का प्रतीक है राम दरबार
राम दरबार श्रीराम भक्तों के लिए श्रद्धा, मर्यादा, धर्म और दिव्यता का परम केंद्र है. यह रामराज्य के उस आदर्श चित्र का प्रतीक है, जहां भगवान राम न्याय, करुणा और धर्म के साथ राज्य करते हैं और साथ में उनके परमप्रिय परिवार का दिव्य संगठित रूप दिखाई देता है. श्रीराम राजसी वस्त्रों में, शंख-चक्र नहीं रखते क्योंकि वह विष्णु रूप में नहीं, अपितु नरलीला रूप में राजा हैं. वहीं हमारी माता जानकी का सौम्य रूप है और उनके हाथों में कमल का फूल है.
राम दरबार की पूजा के लाभ
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, रामदरबार की पूजा अर्चना करने और दर्शन करने मात्र से परिवार में सौहार्द, शांति, एकता आती है. साथ ही भगवान राम को देखते हुए जीवन में मर्यादा और कर्तव्यबोध बढ़ता है. यह दरबार इतना शक्तिशाली होता है कि इसके दर्शन मात्र से विवाह, संतान, गृहस्थ जीवन के कष्ट दूर होते हैं. साथ ही राज्य, पद, शासन या नौकरी से जुड़े कर्मों में सफलता मिलती है.