मॉक ड्रिल के लिए गुरुग्राम में प्रशासन की मीटिंग हुई। हिसार में सायरन की प्रैक्टिस की गई। जालंधर में मंगलवार रात को ब्लैकआउट हुआ।
केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश पर हरियाणा के 11 शहरों में युद्ध में हवाई हमले के दौरान बचने के लिए मॉक ड्रिल होगी। मंगलवार को हिसार में सायरन की प्रैक्टिस की गई। इसके अलावा अंबाला में प्रशासन ने ड्रोन उड़ाने पर रोक लगा दी है। हरियाणा के अलावा पंजाब
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हवाई हमले के संकेत के तौर पर मॉक ड्रिल का सायरन बजते ही ये सभी शहर आधे घंटे के लिए अंधेरे में डूब जाएंगे यानी इन शहरों की बिजली बंद कर ब्लैकआउट किया जाएगा।
इस मॉक ड्रिल का मकसद ये जांच करना है कि जंग में मिसाइल या दूसरे हवाई हमले के दौरान आम जनता और सरकारी व्यवस्था कितनी तेजी से इमरजेंसी मदद के लिए एक्टिव हो सकती है।
हरियाणा के 11 शहरों में कब होगी मॉक ड्रिल-ब्लैकआउट
हिसार: 10 मिनट का ब्लैक आउट होगा यहां शाम 4 बजे मॉक ड्रिल होगी। इसके बाद 7:30 बजे से ब्लैकआउट होगा। हिसार में आर्मी कैंट है। इसके अलावा अभी यहां नया एयरपोर्ट बना है।
गुरुग्राम: रात 9 बजे होगा ब्लैकआउट यहां देवीलाल स्टेडियम में सुबह 11 बजे मॉक ड्रिल की जाएगी। इसके बाद रात 9 बजे से आधे घंटे का ब्लैकआउट किया जाएगा। मॉक ड्रिल के लिए लघु सचिवालय में कंट्रोल रूम बनाया गया है।
पानीपत: शाम 4 बजे मॉक ड्रिल यहां के लघु सचिवालय में शाम 4 बजे मॉक ड्रिल होगी। DC डॉ वीरेंद्र कुमार दहिया ने कहा कि कल सुबह चीडियो कॉन्फ्रेंस होगी। जिसमें गृह मंत्रालय के आदेशों पर चर्चा कर ब्लैकआउट का फैसला लिया जाएगा।
रोहतक: मॉक ड्रिल-ब्लैकआउट का टाइम तय नहीं यहां अभी मॉक ड्रिल और ब्लैकआउट की टाइमिंग को लेकर फैसला नहीं लिया गया है। एडीसी नरेंद्र कुमार का कहना है कि सुबह चीफ सेक्रेटरी के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग होगी, उसके बाद मॉक ड्रिल और ब्लैकआउट का टाइम तय किया जाएगा।
फरीदाबाद: कर्मचारियों की छुट्टी कैंसिल यहां शाम 4 बजे चार जगह मॉक ड्रिल कराई जाएगी। DC ने सभी विभागों के अधिकारियों की छुट्टी कैंसिल कर दी है। जिला मुख्यालय, उपमंडल कार्यालय, पुलिस विभाग और अस्पताल स्तर पर मॉक ड्रिल होगी, जिसमें कर्मचारी मौजूद रहेंगे।
सोनीपत: सायरन बजते ही 4 बजे मॉक ड्रिल होगी शाम 4 बजे मॉक ड्रिल की जाएगी। लघु सचिवालय परिसर में स्टेज एरिया निर्धारित किया गया है। DC डॉ. मनोज कुमार ने बताया कि मॉक ड्रिल के दौरान जिले के विभिन्न स्थानों पर एक साथ सायरन बजाए जाएंगे, जिसके बाद अभ्यास शुरू होगा।
अंबाला: मॉक ड्रिल की टाइमिंग तय नहीं यहां अभी मॉक ड्रिल की टाइमिंग तय नहीं हुई है। DC अजय सिंह तोमर ने बताया कि मॉक ड्रिल के दौरान एयर सायरन बजेगा। बिजली भी कुछ देर के लिए बंद कर दी जाएगी। ऐसी स्थिति में लोग घबराएं नहीं और संयम बनाएं रखें।
झज्जर: मॉक ड्रिल शाम 4 बजे, कंट्रोल रूम बनाया यहां मॉक ड्रिल शाम 4 बजे से शुरू होगी। ADC सलोनी शर्मा ने बताया कि मॉक ड्रिल से पहले ड्राइ रन भी किया जाएगा, ताकि आपात स्थिति में त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित हो सके। मॉक ड्रिल के सुचारू संचालन के लिए जिला मुख्यालय पर एक कंट्रोल रूम स्थापित किया जाएगा।
पंचकूला: यहां सेना के पश्चिमी कमान का हेडक्वार्टर यहां अभी मॉक ड्रिल का समय तय नहीं किया गया है। हालांकि इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। यहां चंडी मंदिर में भारतीय सेना की पश्चिमी कमान का मुख्यालय है।
सिरसा: आधे घंटे के लिए बिजली बंद होगी यहां 10 जगहों पर मॉक ड्रिल होगी। इसके लिए स्कूल, कॉलेज, यूनिवर्सिटी, बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन को भी चुना गया है। इसके बाद रात को 10 बजे से 10:30 बजे तक बिजली बंद की जाएगी यानी ब्लैकआउट होगा।
यमुनानगर: मॉक ड्रिल की टाइमिंग तय नहीं यहां मॉक ड्रिल को लेकर टाइमिंग तय नहीं हुई है। आज सुबह DC पार्थ गुप्ता और SP सुरेंद्र सिंह भौरिया इसको लेकर वीडियो कॉन्फ्रेंस (VC) के माध्यम से अधिकारियों की बैठक लेगें। वहीं अधिकारियों को इसकी जानकारी दी जाएगी।


पंजाब के शहरों में कब ब्लैकआउट…
- अमृतसर: यहां सुबह 10.30 बजे से 11 बजे तक मॉक ड्रिल होगी। रामतीर्थ रोड और अजनाला रोड पर मॉक ड्रिल करवाई जाएगी। यहां रात साढ़े 10 बजे ब्लैकआउट होगा।
- जालंधर: शाम 8 बजे से 9 बजे तक ब्लैकआउट रहेगा।
- फरीदकोट: DC पूनमदीप कौर ने कहा कि फरीदकोट और कोटकपूरा शहर में शाम 4 बजे सायरन बजेगा। जिसके बाद मॉक ड्रिल होगी। रात 10 बजे ब्लैकआउट किया जाएगा।
- लुधियाना: DC हिमांशु जैन ने बताया कि शहर में शाम को 4 बजे मॉक ड्रिल होगी। इससे पहले सायरन बजेगा। इसके बाद रात को 8 से 8:30 बजे तक ब्लैकआउट होगा।
- बठिंडा: यहां शाम 4 बजे मॉक ड्रिल होगी। रात 8.30 बजे से 9 बजे तक ब्लैकआउट रहेगा।
- पठानकोट: यहां शाम 4 बजे मॉक ड्रिल की जाएगी। रात 10 से साढ़े 10 बजे तक ब्लैकआउट होगा।
- फाजिल्का: यहां सुबह 11 बजे मॉक ड्रिल होगी। रात 10.30 बजे से आधे घंटे का ब्लैकआउट होगा।
- रोपड़: यहां सुबह 11 बजे मॉक ड्रिल होगी। यहां रात 8 बजे से साढ़े 8 बजे तक ब्लैकआउट रहेगा।


चंडीगढ़: शाम 7.30 बजे सायरन बजेगा, 10 मिनट ब्लैकआउट रहेगा चंडीगढ़ में बुधवार शाम 7.30 बजे सायरन बजेगा। इसके साथ ही लोगों को 7.40 बजे तक घरों की लाइट्स बंद रखने और घर पर ही रहने के निर्देश दिए गए हैं। चंडीगढ़ प्रशासन की तरफ से इस संबंध में मंगलवार शाम 4 बजे बैठक की गई। बैठक में चंडीगढ़ के डीसी निशांत कुमार यादव समेत अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
शिमला में कब ब्लैकआउट और मॉक ड्रिल शिमला में कल 4 बजे डीसी ऑफिस परिसर और संजौली में मॉक ड्रिल होगी। रात 7:20 बजे से 7:30 बजे तक शिमला शहर में बिजली बंद कर ब्लैकआउट किया जाएगा।

पंजाब में जालंधर कैंट में मंगलवार शाम को मॉक ड्रिल के दौरान घोषणा करते हुए अधिकारी।
आम लोगों के लिए मॉक ड्रिल-ब्लैकआउट से जुड़ी अहम जानकारी
मॉक ड्रिल से पहले
- रात को अपना फोन और पावर बैंक चार्ज कर लें।
- बुनियादी सामान और आपातकालीन आपूर्ति तैयार रखें।
- बैटरी व सौर ऊर्जा से चलने वाली फ्लैशलाइट, टॉर्च, रेडियो, ग्लो स्टिक चार्ज रखें।
- वैध आईडी कार्ड अपने साथ रखें।
- परिवार की आपातकालीन किट तैयार रखें। जिसमें पानी, सूखा भोजन, बुनियादी दवाइयां हों।
युद्ध के अलर्ट के बारे में जानें
- सायरन सिग्नल सीखें (जैसे लंबा हो तो लगतार अलर्ट, छोटा हो तो सब साफ है)
- आधिकारिक अपडेट के लिए रेडियो या टीवी देखते रहें।
- सुरक्षित क्षेत्र की तैयारी, आश्रय के रूप में सुरक्षित अंडरग्राउंड कमरे या तहखाने की पहचान करें।
- परिवार के साथ अभ्यास करें। लाइट बंद कर 1-2 मिनट के भीतर सुरक्षित क्षेत्र में इकट्ठा हों।
इमरजेंसी नंबर नोट करें
- पुलिस: 112
- फायर ब्रिगेड: 101
- एम्बुलेंस: 120
मॉक ड्रिल के दौरान यह ध्यान रखें
- अगर हवाई हमले के सायरन या घोषणाएं सुनाई दें तो घबराएं नहीं, यह एक अभ्यास होगा।
- पुलिस, स्कूल अधिकारियों, बिल्डिंग सुरक्षा या किसी अन्य सरकारी अधिकारियों के निर्देशों का पालन करें।
ब्लैकआउट के दौरान ये सावधानियां बरतें
- घर के अंदर रहें और खिड़कियों से दूर रहें। अगर आप गाड़ी चला रहे हैं, तो अपने वाहन को किनारे पर पार्क करें और लाइटें बंद कर दें। जहां हैं वहीं रहें और इधर-उधर न जाएं।
- अलर्ट के दौरान सभी इनडोर और आउटडोर लाइटें बंद कर दें। जिसमें इन्वर्टर या अन्य बिजली सप्लाई को डिसकनेक्ट कर दें।
- ब्लैकआउट की घोषणा होने या सायरन चालू होने पर गैस और बिजली के उपकरण बंद कर दें।
- इस दौरान यह सुनिश्चित करें कि बच्चों, बुजुर्गों और पालतू जानवरों की हर समय निगरानी होती रहे।
- खिड़कियों के पास फोन या LED डिवाइस का इस्तेमाल न करें।
- मोटे पर्दे का इस्तेमाल करें या खिड़कियों को कार्ड बोर्ड या पैनल से ढकें।
- वॉट्सऐप या सोशल मीडिया पर गलत जानकारियों को न फैलाएं।
मॉक ड्रिल के बाद क्या करें
- जब तक निर्देश न दिए जाएं, सामान्य गतिविधि फिर से शुरू न करें।
- अपने आसपास के बच्चों या बुजुर्गों को बताएं कि ये सिर्फ अभ्यास था।
(मॉक ड्रिल अस्पतालों और नर्सिंग होम्स पर लागू नहीं होता। हालांकि उन्हें भी ड्रिल के दौरान सभी खिड़कियों को मोटे पर्दे से ढककर सतर्क रहना चाहिए। ड्रिल का मकसद लोगों को इमरजेंसी स्थिति के लिए तैयार करना है ताकि मुश्किल परिस्थिति में दहशत की संभावना को कम किया जा सके।)

हवाई हमले के खतरे को देखते हुए इन बातों का पालन करें
- ज्वलनशील सामग्री जैसे लकड़ी, भूसा, कागज, गत्ता, टायर, प्लास्टिक, कपड़ा, पेट्रोल, डीजल, केरोसीन, थिनर आदि को घर, होटल, स्कूल या अस्पताल की छत से हटा दें और किसी सुरक्षित स्थान पर रखें।
- चमकदार वस्तुएं जैसे कांच, स्टील या स्टील पेंटेड सामान को छत पर न रखें। यदि हटाना संभव न हो, तो उसे काले रंग से पेंट कर दें या काले कपड़े से ढक दें।️
- पुराना गत्ता, अखबार, कंबल या मोटी चादरें तैयार रखें ताकि खिड़कियों और रोशनदानों को ढक सकें और घर से रोशनी बाहर न जाए।
- ब्लैकआउट के आदेश मिलते ही किसी भी हालत में इन्वर्टर की लाइट न जलाएं। इससे आप और आपके शहर को खतरा हो सकता है।
- हर घर में परिवार के सदस्यों की संख्या के अनुसार मेडिकल किट रखें, जिसमें 6 व 4 इंच गोल पट्टी, डिटॉल या अन्य एंटीसेप्टिक क्रीम या लिक्विड, मेडिकल कॉटन, बैंडेज, बुखार और दर्द की गोली हो।
- यदि आपके घर की गली और मुख्य सड़क के बीच कहीं मलबा, कीचड़ या पानी जमा है, तो पड़ोसियों या प्रशासन की मदद से तुरंत रास्ता साफ करवाएं ताकि फायर ब्रिगेड, एम्बुलेंस जैसी सहायता समय पर पहुंच सके।
- पीने के पानी के अलावा, बड़े प्लास्टिक टैंक भरकर रखें और 4-6 मजबूत खाली बाल्टियां भी रखें ताकि आग लगने की स्थिति में आप अपनी क्षमता अनुसार आग पर काबू पा सकें। अगर आपके पास फायर एक्सटिंगिवीशर (अग्निशामक यंत्र) है तो उसे भरकर तैयार रखें।
- हवाई हमले की स्थिति में घर से बाहर किसी खुले स्थान पर लेट जाएं, कानों को उंगलियों से ढकें और छाती ज़मीन से ऊपर रखें ताकि बम के कंपन से दिल को नुकसान न पहुंचे।