हरियाणा में अप्रैल महीने में ही मई जैसी गर्मी पड़ने लगी है। प्रदेश में पारा सामान्य से 4 डिग्री अधिक हो चुका है। इससे प्रदेश के 2 शहरों रोहतक और नारनौल में पारा 40 डिग्री तक पहुंच गया है। इसे देखते हुए मौसम विभाग ने आज (7 अप्रैल) के लिए 16 जिलों में ग
.
मौसम विभाग के मुताबिक 7 से 9 अप्रैल तक सभी जिलों यानी पूरे प्रदेश में तापमान 40 डिग्री पार कर जाएगा। अगर सामान्य से 5 डिग्री तापमान बढ़ा तो फिर हीट वेव यानी लू चलने लगेगी।
इन जिलों में हिसार, भिवानी, रोहतक, चरखी दादरी, महेंद्रगढ़, रेवाड़ी, झज्जर, गुरुग्राम, फरीदाबाद, पलवल, नूंह, सिरसा, फतेहाबाद, जींद, पानीपत व सोनीपत में गर्मी ज्यादा रहेगी।
हालांकि 6 जिलों, पंचकूला, यमुनानगर, अंबाला, कुरुक्षेत्र, कैथल व करनाल को ग्रीन जोन में रखा गया है। यहां तापमान सामान्य के आसपास रहेगा।
- तापमान में तेजी से बढ़ोतरी क्यों? मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक आम तौर पर अप्रैल महीने के पहले 15 दिनों में मौसम सामान्य रहता है। अंतिम हफ्ते से गर्मी शुरू होती है। इस बार अप्रैल के पहले हफ्ते से ही गर्मी बढ़ गई है। इसकी वजह हरियाणा और दिल्ली NCR का साफ व खुश्क मौसम है। देश के उत्तर पश्चिम में स्थित थार मरुस्थल से सीधी खुश्क और गर्म पश्चिमी हवाओं से वातावरण की नमी सोख दी है। वहीं धूप भी तेज निकल रही है। इसी वजह से लू जैसी स्थिति बनने लगी है।
- 2 दिन लू का अलर्ट, 9 को बदलेगा मौसम आने वाले 2 दिनों में मैदानी क्षेत्रों यानी हरियाणा के पश्चिमी और दक्षिणी जिलों में गर्मी ज्यादा बढ़ेगी और लू भी चलेगी। मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक 9 अप्रैल को उत्तर पर्वतीय क्षेत्रों में एक पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो सकता है, यह कमजोर होगा, लेकिन इससे हरियाणा और दिल्ली NCR में मौसम में आंशिक बदलाव होगा।
गर्मी से खुद और फसलें बचाने के ये सुझाव
- अपने जरूरी काम सुबह और शाम को करें, बहुत जरूरी हो तभी दिन के समय खुले में निकलें। सिर को ढककर रखें।
- पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं जिससे लू से बचा जा सके। पानी की कमी होने पर ORS पी सकते हैं।
- ज्यादा तापमान से गेहूं के समय पूर्व पकने और दाने कमजोर हो सकते हैं। अगर गेहूं दिसंबर महीने के अंत में बिजाई की गई है तो हल्की सिंचाई कर सकते हैं।
- रबी फसलों की कटाई के बाद बचे अवशेष में आग ना लगाएं बल्कि गड्ढों में अवशेष इकट्ठा करके कम्पोस्ट खाद बनाएं या सब्जियों में मल्च के रूप में प्रयोग करें।
- गेहूं के खेत में अगर बिजली की बड़ी लाइन के पोल हों तो उनके नीचे की गेहूं पहले काट ले ताकि बिजली के तारों की रगड़ से चिंगारी से आग का खतरा ना रहे।
- सब्जियों व फलदार पौधों में नमी बनाए रखने के लिए हल्की सिंचाई करनी चाहिए। ड्रिप पद्धति से सुबह-शाम का वक्त उचित रहेगा।