पूर्णिया के मरंगा थाना क्षेत्र के रहने वाले विकास दास को सूखे नशे की ऐसी लत लगी कि 10 बार खून बेच कर स्मैक खरीदा। खचांजी थाना क्षेत्र के समीर को स्मैक के लिए पैसे नहीं मिले तो उसने अपने ही घर में आग लगा दी।
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मुफस्सिल थाना क्षेत्र का 17 साल का राहुल गर्लफ्रेंड की डिमांड और अपने शौक पूरे करने के लिए स्मेक की तस्करी करने लगा। फायदा नजर आया तो नकली स्मैक बनाकर बेचने लगा। इस धंधे में वो ऐसा डूबा कि उसकी हत्या तक हो गई।
ये चंद केस हैं, जो पूर्णिया से सामने आए हैं, और जो ये बताने के लिए काफी हैं कि किस तरह से जिले में सूखे नशे का कारोबार बढ़ रहा है। कैसे ज्यादा पैसों की लालच में नाबालिग से लेकर बड़े लोग भी शामिल हो रहे हैं।
एक तस्कर ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि एक पुड़िया में 1 ग्राम होता है और इनकी कीमत 1000 रुपए या इससे अधिक होती है। इसमें मोलभाव भी होता है, जिसके बाद तस्कर 800 रुपए में भी दे देते हैं।
इसके अलावा पूर्णिया में नकली स्मैक भी धंधा चल रहा है, जिसे लोकल स्तर पर बनाया जाता है। इसमें मात्र 100 रुपए लगते हैं। और 1000 रुपए के हिसाब से ही बेचते। इस तरह नकली स्मैक की तस्करी में 900 रुपए का फायदा होता है।
जिलें में हालात ऐसे की 30 नवंबर से अबतक साढ़े 7 करोड़ का स्मैक पकड़ा चुका हैं। पढ़िए कैसे स्मैक के धंधे में पूर्णिया के युवा बर्बाद हो रहे हैं….
सबसे पहले जानिए कैसे बनता है नकली स्मैक
30 नवंबर से अब तक साढ़े 7 करोड़ का स्मैक पकड़े चुके
पूर्णिया में स्मैक नेपाल, मणिपुर, बंगाल, झारखंड, यूपी और पंजाब से आता है। 70 फीसदी स्मैक बंगाल से ही आता है। 30 नवंबर से अब तक (डेढ़ महीने में) 7 किलो 500 ग्राम गांजा बरामद हुआ है। जिसकी कीमत साढ़े 7 करोड़ है। 48 से अधिक धंधेबाज पकड़े गए हैं।
जिले के एसपी कार्तिकेय शर्मा भी इस बात को कबूल करते हैं कि शहर के यंगस्टर्स बेहद तेजी से इस नशे की गिरफ्त में आए हैं। आपराधिक घटनाओं में इजाफे का एक कारण युवाओं में बढ़ता स्मैक का क्रेज भी है।
12 दिसंबर को पांच करोड़ की खेप पकड़ाई थी।
4 मामलों से समझें युवा नशे में कैसे बर्बाद हो रहे…
1. तस्करी के चक्कर में नाबालिग की हो गई हत्या
पूर्णिया के मुफस्सिल थाना क्षेत्र के बेलौरी वार्ड-43 निवासी 17 साल का राहुल यादव अपनी गर्लफ्रेंड की डिमांड और अपनी शौक पूरी करने के लिए स्मैक के धंधे में शामिल हुआ। 2023 में राहुल इस धंधे में उतरा। शौक पूरा करने के लिए उसे पैसे की सख्त जरूरत थी।
इसी बीच वह स्मैक तस्कर हरिकांत गुप्ता के संपर्क में आया। उसने राहुल को स्मैक तस्करी का ऑफर दिया। जिसके बाद उसने हरिकांत गुप्ता का छोटा-मोटा माल बेचना शुरू किया।
राहुल ने धंधे से खूब पैसे कमाए। बाद में पार्टनर हरिकांत गुप्ता और कुछ दोस्तों से 2.20 लाख रुपए को लेकर विवाद हो गया। 6 जनवरी को हरिकांत गुप्ता ने अपने 2 दोस्तों के साथ मिलकर उसकी गला दबाकर हत्या कर दी और शव को नदी किनारे झाड़ियों में फेंक दिया।
मामले में पुलिस ने 2 आरोपी हरिकांत गुप्ता और मोनू साह को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। तीसरे आरोपी का भी नाम राहुल है, उसने खुद ही कोर्ट में आत्मसमर्पण कर दिया।
मृतक राहुल एक स्टूडेंट था, जो पढ़ाई के साथ ही चाचा के साथ खेत में हाथ बंटाता था, लेकिन जब वो धंधे से जुड़ा तो उसने नकली स्मैक भी बनाना शुरू कर दिया था।
2. नशे के लिए 10 बार अपना खून बेचा
ऐसा ही मामला एक 11 मार्च 2023 को सामने आया, जहां मरंगा थाना क्षेत्र के बायपास इलाके में रहने वाले विकास दास को सूखा नशा करने की इतनी बुरी लत लगी कि उसने अपने स्मैक के शौक को पूरा करने के लिए अपने खून का सौदा कर दिया। उसने अपना 10 बार बेचा।
इस मामले का खुलासा तब हुआ, जब उसकी हालत बिगड़ने लगी और उसे GMCH में भर्ती कराना पड़ा। धीरे-धीरे उसकी स्थिति बिगड़ती चली गई और इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। मरने से पहले उसने खुद 10 बार खून बेचने की बात बताई।
3. गुस्से में आकर अपना घर ही जला दिया
एक मामला 13 मार्च 2023 को सामने आया। सहायक खचांजी थाना के राजाबाड़ी निवासी समीर नाम के युवक को सूखे नशे की लत लगी थी। नशा करने के लिए अक्सर घर से पैसे मांगता था, लेकिन 13 मार्च को उसके घरवालों ने उसे पैसे देने से मना कर दिया। जिसके बाद उसने गुस्से मां आकर अपना घर जला दिया।
4. नशे में धुत्त लड़के ने मैच के ग्राउंड में नश काट लिया था
16 मार्च 2023 को एक लड़का नशा करने के बाद जिले के एक गर्ल्स स्कूल में चल रहे स्कील कॉम्पटीशन के दौरान ग्राउंड पर उतर आया। वहां उसने अपनी गलर्फेंड के सामने खूब हंगामा किया। लड़का खुद को आशिक बताता रहा। वह कहता रहा, ‘मैं एक लड़की से प्यार करता हूं। अगर उस लड़की से शादी नहीं हुई तो मैं क्रिमिनल बन जाऊंगा।’ इसके बाद उसने स्कूल कैंपस में ही अपनी नस काट ली।
धंधे से जुड़ने के लिए तस्करों के पास खुद जाते नए लड़के
पूर्णिया में सबसे बड़े स्मैक तस्कर रौनक कुमार और रिक्की सिंह है। इसके अलावा हरिकांत गुप्ता है। जो नाबालिग की हत्या मामले में अभी जेल में है। वहीं, रौनक और रिक्की सिंह 5 किलो 190 ग्राम स्मैक के साथ 12 दिसंबर को गिरफ्तार हुए थे। इन लोगों के पास से 5 करोड़ की खेप बरामद हुई थी।
इनके अलावा और भी तस्कर हैं, जो अभी सामने नहीं आए हैं। पुलिस उनकी तलाश में है। जब नए लड़कों को धंधे से जुड़ना होता है तो इन्हीं तस्करों के पास जाते हैं और उनसे खेप लेकर बेचते हैं।
तस्करों के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई जारी है
एसपी कार्तिकेय शर्मा ने बताया कि शहर के यंगस्टर्स बेहद तेजी से इस नशे की गिरफ्त में आए हैं। आपराधिक घटनाओं में इजाफे का कारण स्मैक का फलता-फूलता कारोबार है। जिले में नशे के बढ़ते कारोबार पर नकेल कसने पुलिस लगातार छापेमारी कर रही है। लगातार स्मैक तस्करों के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई जारी है।
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