मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले के ग्राम पंचायत ताराबहरा के बैरागी गांव में होली के तीसरे दिन एक अनूठी परंपरा निभाई जाती है। यहां मुर्गा, केकड़ा और खरगोश पकड़ने की प्रतियोगिता होती है।इस परंपरा को गांव में अकाल से बचने का उपाय माना जाता है।
.
इस वर्ष विधायक रेणुका सिंह पहली बार इस कार्यक्रम में शामिल हुईं। उन्होंने महिलाओं के समूह के साथ मुर्गा, केकड़ा और खरगोश पकड़ने की प्रतियोगिता में हिस्सा लिया।
इस परंपरा में गांव के लोग दो समूहों में बंट जाते हैं- एक पुरुषों का और दूसरा महिलाओं का। गांव में कृत्रिम तालाब बनाकर एक में मछली और दूसरे में केकड़ा छोड़ा जाता है। महिलाएं मछली पकड़ती हैं और पुरुष केकड़े को। जो टीम जीतती है, उसे गांववाले पुरस्कृत करते हैं।
इस वर्ष विधायक रेणुका सिंह पहली बार कार्यक्रम में शामिल हुईं।
प्रतियोगिता का सबसे रोचक हिस्सा खरगोश और मुर्गा पकड़ना होता है। पुरुष खरगोश और मुर्गे को महिलाओं की घेराबंदी के बीच छोड़ते हैं। अगर महिलाएं इन्हें पकड़ने में सफल होती हैं, तो पुरुषों का समूह उन्हें विशेष भोजन कराता है। लेकिन अगर महिलाएं खरगोश और मुर्गा नहीं पकड़ पातीं, तो उन्हें दंडित किया जाता है।
यह परंपरा वर्षों से चली आ रही है और गांववालों का मानना है कि इससे उनका गांव अकाल से बचा रहता है।