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आरोप- सतना पुलिस ने संदिग्धों पर थर्ड डिग्री इस्तेमाल की: पूछताछ में 5 लोगों को 31 घंटे तक बंधक बनाया, जीभ पर करंट तक लगाया – Satna News


एसपी ने मामले की जांच कराने का कहा है।

सतना जिले की कोठी थाना पुलिस पर 5 संदिग्धों को बंधक बनाकर प्रताड़ित करने का गंभीर आरोप लगा है।

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मामला पवइया गांव का है, जहां 20 फरवरी को एक खेत में ट्रांसफॉर्मर के पास 35 वर्षीय मनीष सिंह की लाश मिली थी। इस हत्याकांड की जांच के दौरान पुलिस ने 5 लोगों को हिरासत में लिया। आरोप है कि पुलिस ने इन संदिग्धों को 31 घंटे तक बंधक बनाकर रखा और बेरहमी से पिटाई की।

विशेष रूप से, एक संदिग्ध योगेंद्र सिंह उर्फ बीरू की जीभ पर करंट लगाने का भी आरोप है। मामले में शनिवार शाम एसपी आशुतोष गुप्ता ने जांच के आदेश दिए हैं। जबकि, कोठी के थाना प्रभारी मनीष भारद्वाज ने इन आरोपों को खारिज कर दिया है।

एक संदिग्ध योगेंद्र सिंह उर्फ बीरू ने कहा कि मुझे जीभ पर करंट तक लगाया गया।

टीआई बोले- पारदर्शिता के लिए वीडियोग्राफी कराई थाना प्रभारी का कहना है कि पूछताछ के बाद सभी का मेडिकल कराया गया और पारदर्शिता के लिए वीडियोग्राफी भी की गई। उन्होंने बताया कि सभी संबंधित व्यक्तियों को नियमानुसार नोटिस दिए गए थे।

घटनाक्रम के अनुसार, 19 मार्च को कोठी थाने के एएसआई आरबी सिंह, कांस्टेबल मानवेंद्र सिंह चंदेल, रमेश चंद्र मीणा और कंप्यूटर ऑपरेटर रिंकू जाटव ने योगेंद्र, चुनकौना कोल, संतो कोल, रामकरण चौधरी और प्रभात सिंह को थाने ले गए थे। पुलिस ने उन्हें पूछताछ के लिए बुलाया था।

आरोप है कि पुलिस ने बंधक बनाकर बेहरमी से पीटा भी।

31 घंटे अवैध रूप से कस्टडी में रखने का आरोप एसपी से की गई शिकायत के मुताबिक हत्या के शक पर सभी 5 संदेहियों को पुलिस कालोनी के अलग-अलग कमरों में 31 घंटे तक बंधक बना कर रखा गया। जहां थाना प्रभारी मनीष भारद्वाज, एएसआई आरबी सिंह, कांस्टेबल मानवेंद्र सिंह चंदेल और रमेश चंद्र मीणा ने रात 7 बजे से 12 बजे तक रह-रह कर बेरहमी से पिटाई की। पैर बांध कर पीठ के बल लिटा दिया गया। तलवों में बांस के डंडों और पाइप से पिटाई की गई।

पीठ, कंधे और जांघों में भी डंडे बरसाए गए। 39 वर्षीय एक संदेही योगेंद्र सिंह उर्फ बीरु के मुताबिक, जबरिया जुर्म कबूल कराने के लिए थाने के कम्प्यूटर आपरेटर रिंकू जाटव ने योगेंद्र उर्फ बीरू की जीभ में भी करंट मारा। पुलिस की पिटाई से एक अन्य संदेही संतो कोल 2 घंटे तक बेहोश रहा। मांगने पर भी पीने का पानी नहीं दिया गया। बेटे की तलाश में थाने पहुंचे योगेंद्र के पिता नारेंद्र सिंह को मिलने भी नहीं दिया गया।

पीएम रिपोर्ट के बाद अज्ञात पर अपराध दर्ज मामले में पुलिस अधीक्षक आशुतोष गुप्ता ने बताया कि शव मिलने पर प्रारंभिक जांच में मर्ग कायम कर केस विवेचना में लिया गया था। पीएम रिपोर्ट में मृतक के गले की हड्डी और एक हाथ टूटा पाए जाने पर अज्ञात के विरुद्ध हत्या का केस दर्ज कर पड़ताल शुरू की गई है। एसपी ने कहा कि संदेहियों पर थर्ड डिग्री के इस्तेमाल की जांच कराई जाएगी।



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