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झींकपानी प्रखंड अंतर्गत नवागांव में निर्माणाधीन एकलव्य मॉडल विद्यालय में कार्यरत मजदूरों के साथ जिला परिषद सदस्य जॉन मिरन मुंडा ने मंगलवार को एक अहम बैठक की। बैठक का मुख्य एजेंडा उक्त विद्यालय में कार्यरत मजदूरों को कम मजदूरी देने के मामले से जुड़ा था। कार्यरत मजदूरों ने संवेदक पर आरोप लगाया कि हमें मजदूरी 400 रुपए प्रतिदिन की दर से दी जा रही है। जबकि केंद्र सरकार के श्रम विभाग द्वारा न्यूनतम मजदूरी इससे कहीं ज्यादा है। जिला परिषद सदस्य जॉन मिरन मुंडा ने कहा कि मजदूरों को सरकार के द्वारा निर्धारित मजदूरी का भुगतान नहीं किया जा रहा है। राज्य में पलायन एक गम्भीर मामला बन चुका है।
इसका मुख्य कारण मजदूरों को कम मजदूरी मिलना है। सरकार विकास के नाम पर राशि खर्च कर रही है। लेकिन उस विकास में मजदूरों का हक मारा जा रहा है। मजदूरों का कोई भविष्य नहीं दिख रहा है।
सभी मजदूरों ने तय किया कि जब तक सरकार द्वारा निर्धारित मजदूरी नहीं दी जाएगी, तब तक काम बंद रहेगा।