एक्स-रे A4 पेपर पर प्रिंट निकाला जा रहा है।
बड़वानी में स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति चिंताजनक है। जिला मुख्यालय से 21 किलोमीटर दूर सिलावद में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में एक्स-रे की सुविधा है, लेकिन एक्स-रे फिल्म के अभाव में सामान्य A4 पेपर पर प्रिंट निकाला जा रहा है।
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ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर तरुण वास्कले ने बताया, इमरजेंसी होने पर रोगी कल्याण समिति से शुल्क लेकर एक्स-रे किया जाता है। बाकी अस्पताल में तो सरकार की ओर से एक्स-रे फिल्म उपलब्ध नहीं कराई जाती। मरीजों को कागज पर प्रिंट दिया जाता है।
इलाज कराने आए एक ग्रामीण युवक ने कहा कि कागज पर एक्स-रे प्रिंट से सही इलाज नहीं हो पाता है, क्योंकि फिल्म पर जो दिखता है वह कागज पर देखने में परेशानी आती है। इससे डॉक्टर भी ठीक स्थिति नहीं समझ पाते हैं।
डॉक्टर से जांच कराने के लिए लाइन में लगे मरीज।
इस क्षेत्र तीन बड़े जनप्रतिनिधि, फिर स्वास्थ्य सेवाएं अपर्याप्त
स्थानीय लोगों ने कहा कि राज्यसभा सांसद का निवास सिलावद से 5 किलोमीटर दूर है। खरगोन-बड़वानी लोकसभा सांसद का निवास 21 किलोमीटर की दूरी पर है। जनजाति आयोग के राष्ट्रीय अध्यक्ष अंतरसिंह आर्य भी इसी जिले से हैं। क्षेत्र में तीन प्रमुख नेताओं का निवास होने के बावजूद स्वास्थ्य सुविधाओं की यह स्थिति है।
सिलावद में अस्पताल का एक्स-रे रूम।
आदिवासी बहुल और दुर्गम क्षेत्र होने के कारण यहां की स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की तत्काल आवश्यकता है। डॉक्टर्स और संसाधनों की कमी के बारे में उच्चाधिकारियों को लिखित में सूचित किया गया है।
सीएमएचओ डॉ. सुरेखा जमरे ने इस मामले में जल्द सुधार का आश्वासन दिया है।