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Kitchen In South East : कई बार हम सोचते हैं कि हमने किचन सही दिशा में बनवा लिया है, तो सब कुछ ठीक ही रहेगा. लेकिन वास्तु सिर्फ दिशा नहीं, बल्कि ज़ोन पर भी काम करता है.
किचन से जुड़ा वास्तु
हाइलाइट्स
- किचन सही दिशा में, पर ज़ोन गलत हो सकता है.
- साउथ-साउथ-वेस्ट में पैंट्री रखने से सेहत पर असर.
- स्टोरेज के लिए वेस्ट, नॉर्थ-वेस्ट या ईस्ट ज़ोन चुनें.
Kitchen In South East : आजकल लोग घर बनाते समय वास्तु की सलाह ज़रूर लेते हैं. खासकर जब बात किचन की आती है, तो लोग साउथ-ईस्ट या अग्निकोण को सबसे सही दिशा मानते हैं. वास्तु में यह दिशा ऊर्जा और अग्नि से जुड़ी मानी जाती है, इसलिए यहां किचन बनाना शुभ कहा गया है. लेकिन जब लोग इस दिशा में किचन बनाते हैं, तो कई बार कुछ आम गलतियां हो जाती हैं, जिनका असर सीधा सेहत और घर के माहौल पर पड़ सकता है. इस विषय में अधिक जानकारी दे रहे हैं भोपाल निवासी ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा.
हाल ही में एक केस सामने आया जिसमें एक परिवार को लगातार थकावट और शरीर में कमजोरी महसूस हो रही थी. घर का मालिक खाने-पीने का बहुत ध्यान रखता था, लेकिन फिर भी उसका वज़न लगातार घट रहा था. जांच करने पर पता चला कि घर में किचन तो सही दिशा में था, लेकिन पैंट्री यानी खाने-पीने का सामान स्टोर करने की जगह साउथ-साउथ-वेस्ट ज़ोन में बनाई गई थी. यही असली परेशानी की जड़ थी.
आर्किटेक्ट्स और वास्तु सलाहकार भी करते हैं यह गलती
बड़े घरों में जब किचन का साइज बड़ा होता है, तब पैंट्री या स्टोरेज को ज़्यादा जगह की ज़रूरत होती है. ऐसे में कई बार आर्किटेक्ट या डिजाइनर इसे साउथ-साउथ-वेस्ट में शिफ्ट कर देते हैं, ताकि किचन का फ्रंट हिस्सा साउथ या साउथ-ईस्ट में बना रहे. लेकिन यह समझदारी नहीं, बल्कि नुकसान की वजह बन जाती है.