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देश के 28 राज्यों-केंद्रशासित प्रदेशों में पहुंचा नया कोरोना वैरिएंट: 4145 एक्टिव केस, 38 की मौत; हिमाचल के अस्पतालों में मास्क अनिवार्य


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नई दिल्ली/मुंबई/बेंगलुरु/तिरुवनंतपुरम24 मिनट पहले

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कोरोना से बीते 5 दिन में 31 मौतें हुई हैं।

देशभर में कोरोना वायरस के केसों की संख्या 4145 पहुंच गई है। ये मामले 28 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से सामने आए हैं। सबसे ज्यादा 1416 एक्टिव केस केरल में हैं। वहीं महाराष्ट्र 510 केसों के साथ दूसरे नंबर है। यहां मंगलवार को 86 नए केस सामने आए।

कोरोना के नए वैरिएंट्स से जनवरी से अब तक देश में 38 मौतें हो चुकी हैं। इनमें से 31 मरीजों की मौत बीते 5 दिन में हुई है। महाराष्ट्र में सबसे ज्यादा 10 और केरल में 9 मरीजों ने जान गंवाई है। मंगलवार को देश में कोई नई मौत नहीं हुई है।

हिमाचल प्रदेश में मंगलवार को कोरोना का पहला मामला सामने आया। इसके बाद राज्य सरकार ने देर रात एडवाइजरी जारी कर सभी हॉस्पिटल में मास्क पहनना अनिवार्य कर दिया है। मरीजों के साथ अस्पतालों पहुंचने वाले तीमारदारों को भी मास्क पहनना होगा।

केंद्र सरकार ने कहा- कोरोना से निपटने के लिए तैयारियां पूरी केंद्रीय स्वास्थ्य और आयुष राज्य मंत्री प्रतापराव जाधव ने कहा- स्वास्थ्य विभाग और आयुष मंत्रालय पूरी तरह से सतर्क हैं। सभी राज्यों के हालात पर नजर रख रहे हैं। हमने संबंधित सचिवों और मंत्रियों से बातचीत की है।

उन्होंने आगे कहा कि पिछली कोविड लहरों के दौरान बने ऑक्सीजन प्लांट, ICU बेड जैसी चीजों की समीक्षा हो चुकी है। किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयारियां जारी हैं।

हाईकोर्ट ने कहा- कोविड की अगली महामारी अभी खत्म नहीं हुई दिल्ली हाईकोर्ट ने सोमवार को कहा- कोविड की अगली महामारी अभी खत्म नहीं हुई है, बल्कि यह अभी भी एक्टिव है। कोर्ट ने केंद्र सरकार से सैंपल कलेक्शन सेंटर और ट्रांसपोर्ट पॉलिसी को लेकर की गई तैयारियों की जानकारी मांगी है।

कोर्ट ने कहा कि 30 मई 2023 को हुई बैठक के बाद जो भी निर्णय लिए गए, उन्हें लागू करने में अगर कोई खालीपन है तो यह गंभीर मामला है। जस्टिस गिरीश कथपालिया ने कहा कि यह मानकर चलना चाहिए कि जरूरी कदम और प्रोटोकॉल तय किए जा चुके होंगे, लेकिन संबंधित अधिकारियों को इसे रिकॉर्ड पर लाना चाहिए।

11 राज्यों में अब तक 38 की मौत

मिजोरम में 7 महीने बाद कोविड का पहला केस मिला मिजोरम में 30 मई को 2 लोगों में कोविड-19 की पुष्टि हुई है। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि राज्य में इस तरह का आखिरी मामला सामने आने के 7 महीने बाद कोविड के केस मिले। मिजोरम में कोविड-19 का आखिरी मामला अक्टूबर 2024 में सामने आया था, उस दौरान राज्य में 73 लोग वायरस से संक्रमित हुए थे।

उन्होंने बताया कि मरीजों का इलाज आइजोल के पास फल्कोन में जोरम मेडिकल कॉलेज और अस्पताल (ZMCH) में चल रहा है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग के इंटीग्रेटेड रोग निगरानी कार्यक्रम (IDSP) ने लोगों से न घबराने की बात कही है।

IDSP ने लोगों से कोविड प्रोटोकॉल का पालन करने, नियमित रूप से हाथ धोने, हैंड सैनिटाइजर का उपयोग करने और भीड़-भाड़ वाले इलाकों में न जाने की सलाह दी है।

महाराष्ट्र में 10 हजार से ज्यादा कोविड टेस्ट

महाराष्ट्र सरकार ने बताया कि 31 मई को कोविड के 68 नए मामले सामने आए। वहीं, मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक मुंबई में जनवरी 2025 से अब तक 411 केस मिले हैं। जनवरी से अब तक राज्य में 10,324 कोविड-19 टेस्ट किए गए, जिसमें 681 कोरोना पॉजिटिव निकले थे।

इधर, जम्मू-कश्मीर में गुरुवार को कोविड-19 के दो मामले सामने आए थे। दोनों मरीज केरल के रहने वाले हैं और श्रीनगर के गवर्नमेंट डेंटल कॉलेज में पढ़ाई कर रहे हैं।

उत्तर प्रदेश का इटावा सफारी पार्क कोविड के बढ़ते मामलों की वजह से 14 मई को बंद कर दिया गया था। इसे 29 मई को कोविड प्रोटोकॉल के साथ खोल दिया गया।

भारत में मिले कोविड-19 के 4 नए वैरिएंट भारत के कई राज्यों में कोविड-19 के मामलों में बढ़ोतरी के बीच देश में चार नए वैरिएंट मिले हैं। ICMR के डायरेक्टर डॉ. राजीव बहल ने बताया कि दक्षिण और पश्चिम भारत से जिन वैरिएंट की सीक्वेंसिंग की गई है, वे LF.7, XFG , JN.1 और NB.1.8.1 सीरीज के हैं।

बाकी जगहों से नमूने लेकर सीक्वेंसिंग की जा रही है, ताकि नए वैरिएंट की जांच की जा सके। मामले बहुत गंभीर नहीं हैं और लोगों को चिंता नहीं करनी चाहिए, बस सतर्क रहना चाहिए।

वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनाइजेशन (WHO) ने भी इन्हें चिंताजनक नहीं माना है। हालांकि निगरानी में रखे गए वैरिएंट के रूप में कैटेगराइज किया है। चीन सहित एशिया के दूसरे देशों में कोविड के बढ़ते मामलों में यही वैरिएंट दिख रहा है।

NB.1.8.1 के A435S, V445H, और T478I जैसे स्पाइक प्रोटीन म्यूटेशन अन्य वैरिएंट की तुलना में तेजी से फैलते हैं। इन पर कोविड के खिलाफ बनी इम्यूनिटी का भी असर नहीं होता।

भारत में कोविड का JN.1 वैरिएंट सबसे आम है। टेस्टिंग में आधे से ज्यादा सैंपल में यह वैरिएंट मिलता है। इसके बाद BA.2 (26 प्रतिशत) और ओमिक्रॉन सबलाइनेज (20 प्रतिशत) वैरिएंट के मामले भी मिलते हैं।

JN.1 वैरिएंट इम्यूनिटी कमजोर करता है​​​​​ JN.1, ओमिक्रॉन के BA2.86 का एक स्ट्रेन है। इसे अगस्त 2023 में पहली बार देखा गया था। दिसंबर 2023 में WHO ने इसे ‘वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट’ घोषित किया। इसमें करीब 30 म्यूटेशन्स हैं, जो इम्यूनिटी कमजोर करते हैं।

अमेरिका के जॉन्स हॉपकिंस यूनिवर्सिटी के अनुसार JN.1 अन्य वैरिएंट की तुलना में ज्यादा आसानी से फैलता है, लेकिन यह बहुत गंभीर नहीं है। दुनिया के कई हिस्सों में यह सबसे आम वैरिएंट बना हुआ है।

JN.1 वैरिएंट के लक्षण कुछ दिनों से लेकर हफ्तों तक रह सकते हैं। अगर आपके लक्षण लंबे समय तक बने रहते हैं, तो हो सकता है कि आपको लंबे समय तक रहने वाला कोविड हो। यह एक ऐसी स्थिति है, जिसमें COVID-19 के कुछ लक्षण ठीक होने के बाद भी बने रहते हैं।

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