Homeबिजनेसभारत को अंडमान में 2 लाख करोड़-लीटर का तेल-भंडार मिला: पेट्रोलियम...

भारत को अंडमान में 2 लाख करोड़-लीटर का तेल-भंडार मिला: पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह ने कहा- इससे भारत की GDP बढ़कर 20 ट्रिलियन डॉलर हो सकती है


  • Hindi News
  • Business
  • Oil Minister Hardeep Puri Said, India Close To Hitting Guyana type 2 Lakh Crore Liter Jackpot In Andaman That May Make Us $20 Trillion Economy

नई दिल्ली11 मिनट पहले

  • कॉपी लिंक

भारत को अंडमान सागर में करीब 2 लाख करोड़ लीटर का क्रूड ऑयल का भंडार मिल सकता है। यह बात केंद्रीय पेट्रोलियम और नेचुरल गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कही है। हरदीप सिंह ने कहा कि यह अनुमान सही निकला तो इससे भारत की GDP करीब 5 गुना तक बढ़ सकती है।

हरदीप सिंह पुरी ने बताया कि अंडमान सागर में कच्‍चे तेल और गैस का यह बड़ा भंडार दिखा है और सरकार ने इसे निकालने की तैयारियां शुरू कर दी है। माना जा रहा है कि इसके मिलने के बाद हमारी एनर्जी की जरूरतें एक झटके में पूरी हो जाएंगी।

मंत्री ने कहा कि यह पेट्रोलियम भंडार हाल ही में गुयाना में मिले (11.6 बिलियन बैरल) कच्‍चे तेल के रिजर्व जितना हो सकता है। अगर खोज और शोध में यह अनुमान सही निकला तो भारत की GDP एक झटके में 3.7 ट्रिलियन डॉलर से बढ़कर 20 ट्रिलियन डॉलर हो सकती है।

ONGC जैसी कंपनियों ने सर्वे और ड्रिलिंग का काम शुरू किया

हरदीप सिंह पुरी ने बताया कि अभी अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में कच्चा तेल निकालने का काम चल रहा है। जहां ऑयल इंडिया और ONGC जैसी कंपनियों ने नए भंडारों की तलाश में सर्वे और ड्रिलिंग का काम शुरू कर दिया है।

पुरी ने कहा कि ऑयल ड्रिल खोजने में बहुत पैसा खर्च होता है। गुयाना में 43 या 44 तेल के कुएं खोदे गए, जिनमें से प्रत्येक की लागत 100 मिलियन डॉलर थी। 41वें तेल के कुएं में उन्हें कच्चे तेल का भंडार मिला था।

वहीं ONGC ने इस साल सबसे ज्यादा संख्या में कुएं खोदे हैं, 37 सालों में सबसे ज्यादा। वित्त वर्ष 24 में ONGC ने 541 कुएं खोदे, जिसमें 37,000 करोड़ रुपए का खर्च आया था। यह कंपनी के इतिहास में सबसे ज्यादा है।

भारत ऑयल इंपोर्ट्स को काफी हद तक कम कर सकता है

अगर अंडमान में खोज सफल होती है, तो भारत ऑयल इंपोर्ट्स को काफी हद तक कम कर सकता है और अपनी आर्थिक स्थिति को मजबूत कर सकता है। भारत अभी अपनी ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए कच्चे तेल के इंपोर्ट पर बहुत ज्यादा निर्भर है।

देश का 85% से ज्यादा कच्चा तेल इंटरनेशनल सप्लायर्स से मिलता है

सरकारी आंकड़ों से पता चलता है कि देश का 85% से ज्यादा कच्चा तेल इंटरनेशनल सप्लायर्स से प्राप्त होता है। ग्लोबल लेवल पर भारत अमेरिका और चीन के बाद कच्चे तेल का तीसरा सबसे बड़ा इंपोर्टर है।

भारत में अभी असम-गुजरात जैसी जगहों से कच्‍चा तेल निकाला जाता है

भारत में अभी असम, गुजरात, राजस्‍थान, मुंबई और कृष्‍णा-गोदावरी बेसिन से कच्‍चा तेल निकाला जाता है। कच्‍चे तेल के भंडार के साथ ही भारत ने रिफाइन किए गए कच्‍चे तेल का भी विशाल भंडार तैयार किया है। यह भंडार विशाखापट्टनम, मैंगलोर और पुदुर में स्थित है। इसके अलावा ओडिशा और राजस्‍थान में भी ऑयल रिजर्व बनाया जा रहा है।

खबरें और भी हैं…



Source link

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Exit mobile version