यमुनानगर के अस्पताल में दाखिल जच्चा-बच्चा की हालत अब ठीक है।
यमुनानगर में एक ऑटो ड्राइवर की करतूत से एक गर्भवती महिला व उसके गर्भ में पल रहे बच्चे की जान दांव लग गई। ड्राइवर ने प्रसव पीड़ा से तड़प रही महिला को बीच रास्ते छोड़ दिया। ऐसे में महिला ने सड़क पर खुले आसमान के नीचे ही बच्चे को जन्म दिया।
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जानकारी के अनुसार, फतेहाबाद की रहने वाली आरती अपने पति सूरज के साथ यमुनानगर के तीर्थनगर में अपनी ननद के घर आई थी। रात करीब 9:30 बजे आरती को प्रसव पीड़ा शुरू हुई। परिजन उसे ऑटो रिक्शा से सिविल अस्पताल ले जा रहे थे। रास्ते में जब पीड़ा बढ़ी, तो ऑटो ड्राइवर ने उनको भाई कन्हैया साहिब चौक के पास उतार दिया और फरार हो गया।
अस्पताल जाने के लिए कोई दूसरा साधन नहीं मिला। इस दौरान आरती प्रसव पीड़ा से कहराती रही और उसने वहीं सड़क किनारे खुले में एक बच्चे को जन्म दिया। कुछ राहगीरों और परिचित महिलाओं की मदद से प्रसव के बाद आरती और उसके नवजात बेटे को सिविल अस्पताल में भर्ती कराया गया।
यमुनानगर सिविल अस्पताल की पीएमओ डॉ. नवजोत कौर ने बताया कि अस्पताल पहुंचने पर बच्चे की स्थिति थोड़ी नाजुक थी। डॉक्टरों के इलाज से अब मां और बच्चा दोनों स्वस्थ हैं और उनकी हालत सामान्य है। मूल रूप से टोहाना, फतेहाबाद के रहने वाले आरती-सूरज कुछ दिन पहले सहारनपुर में रिश्तेदारों से मिलने आए थे। वहां से वे यमुनानगर में रह रहे रिश्तेदारों से मिलने आए थे, जहां यह घटना घटी।