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हमास ने इजराइल को गलत शव सौंपा: इजराइली सेना का दावा- दोनों बच्चों के शवों की पहचान हुई, पर तीसरी बॉडी उनकी मां की नहीं


गाजा12 मिनट पहले

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अक्टूबर 2021 में हमास ने हमले के दौरान शिरी बिबास को उनके दो बच्चों के साथ अगवा किया गया था। - Dainik Bhaskar

अक्टूबर 2021 में हमास ने हमले के दौरान शिरी बिबास को उनके दो बच्चों के साथ अगवा किया गया था।

फिलिस्तीन के उग्रवादी संगठन हमास ने गुरुवार को 4 इजराइली बंधकों के शव लौटाए थे। हमास के मुताबिक इनमें से तीन शव दो बच्चों और उनकी मां शिरी बिबास के थे।

इसे लेकर इजराइली सेना ने शुक्रवार को दावा किया है कि हमास ने शिरी बिबास का शव नहीं लौटाया है। उनकी जगह किसी और का शव सौंपा गया है। हालांकि, दोनों बच्चों के शवों की पहचान हो गई है।

दोनों बच्चों- एरियल और केफिर बिबास के शवों की पहचान इजराइली पुलिस और बच्चों के परिवार की मदद से नेशनल इन्स्टीट्यूट ऑफ फॉरेंसिक मेडिसिन ने की थी। फॉरेंसिक रिपोर्ट के मुताबिक बच्चों की मौत हमास की कैद में नवंबर 2023 में हुई थी।

इजराइली सेना ने कहा-

शव की पहचान करने के दौरान यह साफ हुआ कि ये बॉडी शिरी बबास की नहीं है। ये बॉडी हमास की कैद में मौजूद किसी और शख्स से भी मैच नहीं कर रही है। ये कोई अनजान शव है।

इजराइली सेना ने कहा कि ऐसा करके हमास ने बंधकों की रिहाई के समझौते का उल्लंघन किया है। हमारी मांग है कि हमास शिरी बिबास का शव लौटाए। इजराइल के इस दावे को लेकर हमास ने अब तक कोई जवाब नहीं दिया है।

हमास ने बंधकों के शवों को काले ताबूत में रखकर रेड क्रॉस को सौंपा।

केफिर हमास की कैद में सबसे कम उम्र का बंधक था केफिर को जब बंधक बनाया गया उस वक्त उसकी उम्र सिर्फ 9 महीने थी। तब वह हमास के कब्जे में सबसे कम उम्र का बंधक था। हमास ने नवंबर 2023 में दावा किया था कि शिरी और उनके दोनों बच्चों की इजराइली बमबारी में मौत हो चुकी है।

हमास ने तब एक वीडियो भी जारी किया था जिसमें यार्डेन बिबास अपने परिजनों की मौत का जिम्मेदार इजराइली पीएम नेतन्याहू को बता रहे थे। हालांकि, इजराइल ने कभी भी हमास के इस दावे को नहीं माना।

एक इजराइली अधिकारी ने रॉयटर्स को बताया कि मृतक बंधकों का नाम घोषित करने से पहले इजराइल में उनकी पहचान की जाएगी। इन शवों की फोरेंसिक जांच के लिए तेल अवीव के अबू कबीर इंस्टीट्यूट ऑफ फोरेंसिक मेडिसिन ले जाया जाएगा।

पत्नी और बच्चों के साथ यार्डेन बिबास।

अब तक 6 बार हो चुकी बंधकों की अदला-बदली इजराइल और हमास में 19 जनवरी को बंधकों की रिहाई को लेकर सीजफायर हुआ था, जिसमें 3 फेज में बंधकों की रिहाई होना है। पहले चरण के तहत 33 इजराइली बंधकों को रिहा किया जाना है। इसमें से 19 बंधकों को अब तक 1100 से ज्यादा फिलिस्तीनी कैदियों के बदले रिहा किया जा चुका है। इजराइल का कहना है कि शेष 14 में से आठ की मौत हो चुकी है।

पिछले महीने लागू हुए सीजफायर डील के तहत बंधकों और फिलिस्तीनी कैदियों की छह बार अदला-बदली हो चुकी है।

बीते शनिवार को इजराइल ने 369 फिलिस्तीनी कैदियों को टी-शर्ट पहनाकर रिहा किया किया। जबकि हमास ने 3 इजराइली बंधकों को छोड़ा था।

तीन फेज में पूरी हो रही सीजफायर डील

इजराइल और फिलिस्तीन के बीच कैदियों की अदला-बदली की यह डील तीन फेज में पूरी होगी। इसमें 42 दिन तक बंधकों की अदला-बदली की जाएगी।

पहला फेज:

  • 19 जनवरी से 1 मार्च तक गाजा में पूरी तरह से युद्धविराम रहेगा। हमास 33 इजराइली बंधकों को रिहा करेगा। इजराइल रोजाना अपने एक बंधक के बदले 33 फिलिस्तीनी बंदियों को रिहा करेगा। हर एक इजराइली महिला सैनिक के बदले 50 फिलिस्तीनी बंदियों को रिहाई मिलेगी।

दूसरा फेजः

  • कहा गया था कि पहले फेज के 16वें दिन, यानी 3 फरवरी तक सब कुछ ठीक रहा, तो दूसरे फेज की योजना पर बातचीत शुरू होगी। इस दौरान हमला नहीं किया जाएगा। जिंदा बचे हुए बाकी बंधकों को रिहा किया जाएगा। हालांकि बातचीत अभी तक शुरू नहीं हो सकी है।
  • इजराइल 1 हजार फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा करेगा, इनमें लगभग 190 कैदी 15 साल से ज्यादा समय से सजा काट रहे हैं।

तीसरा फेजः

  • इस डील के आखिरी फेज में गाजा को दोबारा बसाया जाएगा। इसमें 3 से 5 साल का समय लगेगा। हमास के कब्जे में मारे गए बंधकों के शव भी इजराइल को सौंपे जाएंगे।

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