नालंदा जिले के सिलाव प्रखंड में स्थित भिंडा तालाब से अवैध खनन का मामला सामने आया है। गोरावा गांव में स्थित इस प्राचीन तालाब से बिना किसी विभागीय अनुमति के मिट्टी की अवैध खुदाई करने के मामले में खनन विभाग ने राजा कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के विरुद
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सिलाव प्रखंड के पांकी गोरावा पंचायत स्थित इस तालाब में बिना किसी वैधानिक अनुमति के 1 मार्च से ही पोकलेन और डोजर जैसी भारी मशीनरी का उपयोग करके खुदाई की जा रही थी। यह कंपनी निकाली गई मिट्टी को सड़क निर्माण विभाग के संवेदकों को बेच रही थी।
राजा कंस्ट्रक्शन के संवेदकों की ओर से स्थानीय ग्रामीणों को आर्थिक प्रलोभन देकर इस अवैध खनन को अंजाम दिया जा रहा था। मामला तब और गंभीर हो गया जब खुदाई के दौरान तालाब में एक प्राचीन दीवार मिली। इसके बाद पुरातत्व विभाग की टीम मौके पर पहुंची और इस प्रक्रिया में खुलासा हुआ कि यह खनन बिना किसी विभागीय अनुमोदन के अवैध रूप से किया जा रहा था।
राजा कंस्ट्रक्शन पर दर्ज हुआ मामला।
सवालों के घेरे में प्रशासन
मामले के खुलासे के आठ दिन बाद ही प्रशासन की नींद खुली और खुदाई पर रोक लगाई गई, लेकिन खनन कार्य में प्रयोग की जा रही मशीनरी को जब्त नहीं किया गया। बल्कि, अधिकारियों के पहुंचने से पहले ही मशीनों को हटा दिया गया था, जो प्रशासनिक कार्रवाई में देरी और संभावित मिलीभगत की ओर इशारा करता है।
खनन विभाग के अधिकारियों पर पूर्वाग्रह का आरोप
प्रारंभ में खनन अधिकारियों की ओर से मामले की लीपापोती करने का प्रयास किया गया और पूरे 24 घंटों तक जांच-पड़ताल में समय बिताया गया। दर्ज कराई गई प्राथमिकी में भी विसंगतियां देखी गई हैं। स्थानीय लोगों के अनुसार, तालाब से लगभग 10-12 फीट गहरी खुदाई की गई थी, जबकि आधिकारिक प्राथमिकी में केवल 8 फीट की गहराई दर्शाई गई है, जो अवैध खननकर्ताओं को बचाने के प्रयास का संकेत देता है।
सरकारी राजस्व को 17.61 लाख का नुकसान
सिलाव थाने में दर्ज कराई गई प्राथमिकी में खान निरीक्षक मोहम्मद इरफान ने दर्शाया है कि 11 मार्च को उन्हें सूचना मिली थी कि गोरावा गांव के तालाब से अवैध रूप से मिट्टी निकाली जा रही है। जांच के दौरान तालाब में दो बड़े गड्ढे मिले, जिनका कुल परिमाप 2135.1 घन मीटर था। इतनी बड़ी मात्रा में मिट्टी का अवैध खनन करने से सरकार को 17,61,458 रुपए के राजस्व का नुकसान हुआ है।
कानूनी कार्रवाई का विवरण
प्राथमिकी के अनुसार, यह अवैध खनन बिहार खनिज (समानुदान, अवैध खनन, परिवहन, भण्डारण निवारण) नियमावली 2019 के नियम 11 और 33 का उल्लंघन है और संशोधित नियमावली 2024 के नियम 56 के तहत मामला दर्ज किया गया है। अधिकारियों ने बताया कि राजस्व की क्षति की भरपाई राजा कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के मालिक राजकुमार सिंह से वसूल की जाएगी, जिनका कार्यालय बाली पाकड़, पालीगंज, पटना में स्थित है।