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संभल जामा मस्जिद में आज से रंगाई-पुताई होगी: हिंदू पक्ष ने कहा- भगवा रंग से रंगा जाए, मुस्लिम पक्ष बोला- पहले जैसा कलर होगा – Sambhal News


संभल7 मिनट पहले

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संभल की जामा मस्जिद में रविवार से रंगाई-पुताई का काम शुरू हो जाएगा। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मस्जिद की रंगाई-पुताई के आदेश दिए हैं। एएसआई को इसकी जिम्मेदारी सौंपी है। ASI की टीम शनिवार को मस्जिद की रंगाई कराने पहुंची थी, तब नाथ संप्रदाय के महंत ने हरे रंग पर आपत्ति जताई।

नाथ संप्रदाय के एक महंत ने मस्जिद को भगवा रंग से रंगने की मांग की। जबकि मस्जिद कमेटी के वकील ने कहा कि रंगाई-पुताई के लिए पहले की तरह हरा, सफेद और गोल्डन रंग का ही इस्तेमाल होगा।

पहले देखिए 3 तस्वीरें…

ASI की टीम शनिवार को मजदूरों के साथ जामा मस्जिद पहुंची। रविवार से रंगाई-पुताई का काम शुरू होगा।

रंगाई-पुताई से पहले ASI की टीम ने मस्जिद का एक बार फिर से मुआयना किया।

ASI टीम के दो अधिकारी शनिवार को संभल जामा मस्जिद पहुंचे।

पहले पढ़िए हिंदू पक्ष का तर्क

नाथ संप्रदाय के महंत बालयोगी दीनानाथ का दावा है कि यह सरकारी बिल्डिंग है, किसी व्यक्ति विशेष या मुस्लिम समाज की बिल्डिंग नहीं है। हमारी सरकार, कोर्ट और जिला प्रशासन से मांग है कि अगर रंगाई-पुताई का काम मुस्लिमों के हिसाब से हो रहा है तो हिन्दुओं के हिसाब से भी होना चाहिए। अगर वह हरा रंग पोतने का प्रयास करेंगे तो हमारी मांग रहेगी कि इसमें भगवा रंग भी इस्तेमाल हो।

अगर भगवा रंग से पुताई नहीं हो रही है तो हरे रंग का इस्तेमाल भी नहीं होना चाहिए। सरकार से मांग है कि मस्जिद को सिर्फ सफेद रंग का रखा जाए। ये न तो मुसलमानों का रंग होगा और न ही हिन्दुओं का। इसी मामले को लेकर हमने डीएम-एसपी से भी मुलाकात की। 29 मार्च 1978 को दंगा जो हुआ था, वह भी होली के समय पर हुआ था। उसके बाद से हिंदू से दर्शन और पूजा का अधिकार छीन लिया गया था। अब उस अधिकार को दोबारा लौटाया जाए।

ये नाथ संप्रदाय के महंत बालयोगी दीनानाथ हैं। जिन्होंने हरे रंग से पुताई का विरोध किया।

अब पढ़िए क्या बोला मुस्लिम पक्ष शाही जामा मस्जिद के एडवोकेट सदर जफर अली ने कहा कि रंगाई-पुताई में मस्जिद का स्वरूप चेंज नहीं होगा। मस्जिद की रंगाई-पुताई के लिए पहले की तरह ही हरे, सुनहरे (गोल्डन) और सफेद रंग का ही प्रयोग किया जाएगा। इसकी जानकारी एएसआई के अधिकारियों को भी दे दी गई है।

शनिवार सुबह 11:20 बजे एएसआई के दो अधिकारी निरीक्षण के लिए आए। उनका कहना है कि एएसआई के बड़े अधिकारी आ रहे हैं। उनके पहुंचते ही पुताई का काम शुरू हो जाएगा। एएसआई की टीम अपने साथ मजदूरों की टीम भी लेकर आई हुई है।

सदर जफर अली बोले- हम एएसआई के हिसाब से काम करेंगे।

हाईकोर्ट ने 7 दिन में काम पूरा करने का आदेश दिया है। इस पर जफर अली ने कहा, कोशिश कर रहे हैं, शनिवार को 11:20 बजे लोग आए थे, अब क्या करें। हमारे पास पर्याप्त मजदूर हैं, जरूरत पड़ी तो अपने लेबर से भी काम कराएंगे। ASI की टीम जैसा कहेगी, उसी के अनुसार काम किया जाएगा।

ASI आज से काम शुरू करेगी शाही जामा मस्जिद के सचिव मसूद फारूखी ने कहा एएसआई की टीम शनिवार को आई थी। पहले लेबर के बारे में बातचीत हुई फिर मटेरियल कितना लगेगा, इस पर चर्चा हुई। एएसआई के लोग रविवार से काम शुरू करेंगे। हाईकोर्ट ने 7 दिन का समय दिया था, इनमें से 3 दिन निकल चुके हैं। एएसआई की टीम से 3 लोग आए थे। टीम कुछ लेबर लेकर आई थी और कुछ यहीं से अरेंज करेगी।

नाथ संप्रदाय के महंत बालयोगी दीनानाथ मामले को लेकर डीएम और एसपी से भी मिले।

अब पढ़िए पूरा मामला…

25 फरवरी को जामा मस्जिद कमेटी के वकील जाहिर असगर ने मस्जिद की रंगाई-पुताई के लिए हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की। कहा- हम लोग हर साल रमजान से पहले मस्जिद की रंगाई-पुताई करते हैं, लेकिन इस बार प्रशासन अनुमति नहीं दे रहा है। हिंदू पक्ष रंगाई-पुताई का विरोध कर रहा था। हिंदू पक्ष का कहना था- रंगाई-पुताई से मंदिर के साक्ष्य मिटाए जा सकते हैं, इसलिए परमिशन न दी जाए।

12 मार्च को न्यायाधीश रोहित रंजन अग्रवाल ने सुनवाई के दौरान 7 दिन के भीतर सफेदी पूरी करने के निर्देश दिए। कोर्ट ने कहा- मस्जिद कमेटी मस्जिद की बाहरी दीवारों में ही रंगाई-पुताई करवा सकती है। रमजान के दौरान मस्जिद में लाइटिंग भी करवा सकती है, लेकिन इस दौरान ढांचे को किसी भी तरह का नुकसान नहीं पहुंचाया जाना चाहिए।

आदेश में यह भी कहा गया कि काम पूरा होने के बाद इसका खर्च इंतजामिया कमेटी ASI को चुकाएगी। 13 मार्च को दो सदस्यीय टीम ने मस्जिद की लंबाई-चौड़ाई का माप लिया। आज भी एएसआई की टीम संभल जामा मस्जिद पहुंची।

अब पढ़िए संभल मस्जिद विवाद…

28 फरवरी को इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश पर एएसआई की टीम संभल में शाही जामा मस्जिद का सर्वेक्षण करने पहुंची थी।

जामा मस्जिद को लेकर हिंदू पक्ष का दावा है कि ये पहले हरिहर मंदिर था, जिसे बाबर ने 1529 में तुड़वाकर मस्जिद बनवा दिया। इसे लेकर 19 नवंबर 2024 को संभल कोर्ट में याचिका दायर हुई। उसी दिन सिविल जज सीनियर डिवीजन आदित्य सिंह ने मस्जिद के अंदर सर्वे करने का आदेश दिया।

कोर्ट ने रमेश सिंह राघव को एडवोकेट कमिश्नर नियुक्त किया। उसी दिन शाम को चार बजे सर्वे के लिए टीम मस्जिद पहुंच गई। 2 घंटे सर्वे किया। हालांकि, उस दिन सर्वे पूरा नहीं हुआ। इसके बाद 24 नवंबर को सर्वे की टीम जामा मस्जिद पहुंची। मस्जिद के अंदर सर्वे हो रहा था।

इसी दौरान भारी संख्या में लोग जुट गए। भीड़ ने पुलिस की टीम पर पत्थर फेंके। इसके बाद हिंसा भड़क गई। इसमें गोली लगने से 4 लोगों की मौत हो गई।

24 नवंबर को संभल की जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान हिंसा हो गई थी।

27 फरवरी को हाईकोर्ट में पहली बार इस मामले पर सुनवाई हुई। कोर्ट ने 3 सदस्यीय कमेटी गठित की थी। इसमें मस्जिद के मुतल्लवी और भारतीय पुरातत्व विभाग (ASI) को भी शामिल किया था। कोर्ट ने कमेटी को निर्देश दिया था कि 24 घंटे के अंदर कमेटी मस्जिद का निरीक्षण करके अपनी रिपोर्ट दे।

28 फरवरी को तीन सदस्यीय टीम संभल की शाही जामा मस्जिद पहुंची। टीम ने यहां डेढ़ घंटे रहकर अपनी रिपोर्ट तैयार की। इस दौरान साथ में मुस्लिम पक्ष के वकील जफर अली भी थे। ये 3 बातें निकलकर सामने आई थीं।

  1. मस्जिद के अंदरूनी हिस्से को गोल्डन, लाल, हरे और पीले जैसे तेज रंगों के साथ मोटी परतों में पेंट किया गया है, जो स्मारक की मूल सतह को छिपा रहा था। आधुनिक एनामल पेंट अब भी अच्छी स्थिति में है।
  2. एंट्री गेट के साथ प्रार्थना हॉल के पीछे और उत्तर की ओर स्थित कमरों की हालत कुछ खराब है। गेट का लिंटर खराब हो गया है, जिसे बदलने की आवश्यकता है।
  3. कमरे खस्ता हालत में हैं, खासकर वो छत जो लकड़ी के छप्पर से बनी है।

4 मार्च को हाईकोर्ट में फिर से सुनवाई हुई। इस दौरान कोर्ट ने संभल की शाही जामा मस्जिद को विवादित ढांचा लिखवाया। कोर्ट मेंं हिंदू पक्ष के वकील हरिशंकर जैन ने कहा था- ये (मुस्लिम पक्ष) मस्जिद कहेंगे तो हम मंदिर कहेंगे, राम मंदिर के केस में भी उसे (बाबरी मस्जिद) विवादित ढांचा ही कहा जाता था। इसके बाद जस्टिस रोहित रंजन अग्रवाल ने कहा था- हम देखते हैं। इसके बाद उन्होंने 10 मार्च को सुनवाई की डेट दी थी, लेकिन 10 मार्च को सुनवाई नहीं हो सकी थी।

2 जनवरी को दाखिल हुई थी सर्वे रिपोर्ट 2 जनवरी को संभल में शाही जामा मस्जिद की 45 पन्नों की सर्वे रिपोर्ट चंदौसी कोर्ट में दाखिल कर दी गई थी। 4.5 घंटे की वीडियोग्राफी और 1200 से अधिक फोटो भी अदालत को दिए गए। इसमें दावा किया गया कि जामा मस्जिद में मंदिर होने के सबूत मिले हैं।

मस्जिद में 50 से ज्यादा फूल, निशान और कलाकृतियां मिली हैं। अंदर 2 वट वृक्ष हैं। हिंदू धर्म में वट वृक्ष की पूजा की जाती है। एक कुआं है, उसका आधा हिस्सा मस्जिद के अंदर और आधा हिस्सा बाहर है। बाहर वाले हिस्से को ढंक दिया गया है।

पुराने ढांचे को बदला गया है। जिन जगहों पर पुराने ढांचे हैं, वहां नए निर्माण के सबूत मिले हैं। मंदिर वाले स्ट्रक्चर जैसे- दरवाजे, झरोखों और अलंकृत दीवारों पर प्लास्टर लगाकर पेंट कर दिया गया है। मस्जिद के भीतर जहां बड़ा गुंबद है, उस पर झूमर को तार से बांधकर एक चेन से लटकाया गया है। ऐसी चेन का इस्तेमाल मंदिरों में घंटों को लटकाने में किया जाता है।

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संभल जामा मस्जिद के रंगाई के कलर पर विवाद:नाथ संप्रदाय के महंत बोले- भगवा रंग हो; मुस्लिम पक्ष ने कहा- हरा, सफेद ही रहेगा

संभल की जामा मस्जिद में अब रंगाई-पुताई के रंग को लेकर विवाद छिड़ गया है। नाथ संप्रदाय के एक महंत ने मस्जिद को भगवा रंग से रंगने की मांग की। जबकि मस्जिद कमेटी के वकील ने कहा कि रंगाई-पुताई के लिए पहले की तरह हरा, सफेद और गोल्डन रंग का ही इस्तेमाल होगा। पढ़ें पूरी खबर



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