47वीं राष्ट्रीय जूनियर बालिका हैंडबॉल चैंपियनशिप के फाइनल में हिमाचल प्रदेश को उत्तर प्रदेश ने 19-17 से हराकर जीत दर्ज की। टीम पहली बार चैंपियन बनी है। केडी सिंह बाबू स्टेडियम में आयोजित चैंपियनशिप के पुरस्कार वितरण समारोह में उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठ
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खिलाड़ियों ने संघर्ष और अनुशासन के बल पर खुद को साबित किया है। यह सिर्फ एक ट्रॉफी नहीं, बल्कि प्रदेश में खेल संस्कृति के उत्थान का प्रतीक है। सरकार खिलाड़ियों को सुविधाएं दे रही है। हैंडबॉल एसोसिएशन इंडिया के कार्यकारी निदेशक डा.आनन्देश्वर पाण्डेय कहा कि टीम ने शानदार खेल भावना और अनुशासन का परिचय दिया।
यूपी ने पिछड़ने के बाद की वापसी
फाइनल मुकाबले में उत्तर प्रदेश ने शानदार खेल दिखाया और पिछड़ने के बाद वापसी करते हुए शानदार जीत दर्ज की। पहले हॉफ में दोनों ही टीमों ने तेज अटैक किए, लेकिन हिमाचल प्रदेश की खिलाड़ी अपनी चुस्ती के चलते भारी पड़े। इस दौरान टीम ने 10-8 से बढ़त बना ली। दूसरे हॉफ में उत्तर प्रदेश ने सधी हुई शुरुआत कर बढ़त बनाई। इस दौरान हिमाचल प्रदेश की खिलाड़ियों ने कई महत्वपूर्ण मौके भी गंवाए।
यूपी की गोलकीपर ने किया दमदार प्रदर्शन
उत्तर प्रदेश की गोलकीपर निहारिका ने दमदार खेल दिखाते हुए कई अटैक को विफल कर दिया। मेजबान की ओर से नैना ने सबसे अधिक 6 गोल दागे। रेशमा, सुमन, प्रीति और अनन्या ने इसमें बखूबी साथ दिया। 3-3 गोल करते हुए टीम को जीत की दहलीज पर पहुंचाया। वहीं, दिया को एक गोल करने में सफलता मिली। हिमाचल प्रदेश से जस्सी ने 6, काजल ने 5, कृतिका ने 4 और नितिका व मुस्कान ने 1-1 गोल करने में सफलता हासिल की।
उत्तर प्रदेश टीम के कोच मोहम्मद तौहीद (अंतर्राष्ट्रीय कोच) ने बताया कि उत्तर प्रदेश ने चैंपियनशिप के इतिहास में पहली बार स्वर्ण पदक जीता है। हमने जीत के लिए दूसरे हॉफ में बेहतर रणनीति के साथ खेला और बेहतर डिफेंस पर भी फोकस किया। इसके साथ ही यह भी ध्यान दिया कि कोई चूक न हों। उत्तर प्रदेश की टीम ने पिछले संस्करण में कांस्य पदक जीता था।